खाद कि किल्लत से परेशान किसानों का फूटा गुस्सा, बोले आश्वासन नहीं खाद चाहिए

दमोह। हटा क्षेत्र में खाद की भारी कमी को लेकर किसानों का सब्र आज टूट गया। सोमवार सुबह करीब 9 बजे से सैकड़ों किसान हटा–बटियागढ़ मार्ग पर उतर आए और सड़क जाम कर दी। किसानों की मांग थी कि उन्हें तुरंत खाद उपलब्ध कराई जाए, नहीं तो वे सड़क से नहीं हटेंगे।
सुबह से शुरू हुआ विरोध प्रदर्शन कई घंटों तक जारी रहा। मौके पर तहसीलदार आलोक जैन और थाना प्रभारी धर्मेंद्र उपाध्याय पहुंचे और किसानों से बातचीत कर जाम खुलवाने की कोशिश की, लेकिन किसान अपनी मांग पर अड़े रहे। उनका कहना था कि “आश्वासन बहुत मिल चुके, अब केवल खाद चाहिए।” तहसीलदार आलोक जैन ने किसानों को भरोसा दिलाया कि 17 अक्टूबर तक खाद की आपूर्ति हो जाएगी, लेकिन किसानों ने कहा कि उनकी फसलें सूखने की कगार पर हैं, इसलिए इंतज़ार संभव नहीं।
किसानों का दर्द…
कांटी गांव के किसान संतोष प्रजापति ने बताया कि “15 दिन पहले टोकन मिला था, लेकिन खाद आज तक नहीं मिली। रोज़ दुकान पर चक्कर लगा रहे हैं। तीन बोरी खाद भी मिल जाए तो बुवाई बच जाएगी, लेकिन अब तक कुछ नहीं हुआ।” वहीं, बरोदा गांव के किसान चंद्रेश राठौर ने प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए कहा कि “हम आतंकवादी नहीं हैं, केवल अपनी फसल बचाने के लिए विरोध कर रहे हैं। प्रशासन को दुकानों में ब्लैक मार्केटिंग की जांच करनी चाहिए।”
महिला किसानों ने भी उठाई आवाज़
रसोटा गांव की महिला किसान क्रांतिबाई ने कहा कि “खेत की मिट्टी सूख रही है, अगर आज खाद नहीं मिली तो फसल बर्बाद हो जाएगी। हमारे पास सिंचाई की व्यवस्था नहीं है। हमने सिर्फ 5 मिनट के लिए सड़क रोकी, तो पुलिस पहुंच गई, लेकिन खाद क्यों नहीं पहुंचती?”
मानवता दिखाई किसानों ने — एंबुलेंस को दिया रास्ता
जाम के दौरान वाहनों की लंबी कतारें लग गईं। कई स्कूल बसें और एक एंबुलेंस भी फंस गई थी। हालांकि किसानों ने संवेदनशीलता दिखाते हुए एंबुलेंस को तुरंत रास्ता दे दिया। बाकी वाहनों की आवाजाही लंबे समय तक बंद रही। प्रशासन लगातार किसानों को समझाने में जुटा रहा, लेकिन देर शाम तक किसान “खाद दो, फसल बचाओ” की मांग पर अड़े रहे।



